वाराणसी में ब्राह्मण छात्र सभा के कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पूर्व मंत्री व बसपा नेता नकुल दूबे से योगी सरकार पर जमकर हमला बोला। उन्होंने आरोप लगाया कि योगी सरकार में ब्राह्मणों पर अत्याचार हो रहे हैं तो ठाकुर अपराधियों को संरक्षण देने का काम किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि 2022 के चुनावों में ब्राह्मण विरोधी सरकार को हराने के लिए सभी ब्राह्मणों को एकजुट होना पड़ेगा। लेकिन हमारे समाज में कई विभीषण है, उनसे बचना होगा और समाज को जोड़ना होगा। गौरतलब है, इन दिनों नकुल दूबे ब्राह्मण समाज को जोड़ने में लगे हुए हैं, वह जगह-जगह कार्यक्रम कर ब्राह्मणों को संदेश दे रहे हैं कि ब्राह्मणों का भला सिर्फ बसपा सरकार में है।
नकुल दूबे से आरोप लगाया कि इन दिनों जाति विशेष के लोगों का पुलिसिया महकमे में वर्चस्व है, जो निजी तौर पर ब्राह्मणों से बैर भाव रखते हैं। इसी वजह से ब्राह्मणों पर पुलिस का अत्याचार बढ़ता जा रहा है। उन्होंने कहा कि विजय मिश्रा को इसी वजह से परेशान किया गया। विजय मिश्रा पर जो आरोप लगे हैं, वह कई ठाकुरों पर भी लगे हैं, लेकिन उनके साथ नरमी बरती जा रही है। उनको टिकट देकर चुनाव लड़ाया जा रहा है। जेल में रहकर धंधा चलाने की सुविध मुहैया कराई जा रही है। लेकिन विजय मिश्रा के परिवार को नहक की प्रताड़ित किया जा रहा है।
वहीं पंडित हरिशंकर तिवारी के वहां छापे को लेकर नकुल दूबे ने योगी सरकार पर करारा प्रहार किया। उन्होंने कहा कि पैसा तो नीरव मोदी के भी पास है, विजय माल्या के भी पास है, लेकिन बीजेपी सरकार उन्हें नहीं पकड़ रही है, उन्हें वे देश से भगा रही है और हमारे हरिशंकर तिवारी जी के वहां बेवजह छापे मरवा रही है। उन्होंने आरोप लगाया कि सिर्फ ब्राह्मण होने की वजह से हरिशंकर तिवारी और उनके परिवार को परेशान किया जा रहा है, इसका एकमात्र कारण है कि जो सत्ता में बैठे हैं, वह ठाकुर साहब हैं और वे ब्राह्मणों को नापसंद करते हैं।
नकुल दूबे ने कहा कि सूबे में ब्राह्मण 12 फीसदी है, मगर फिर भी उनका शोषण किया जा रहा है। योगी सरकार को लगता है कि ब्राह्मण उसके गुलाम है, उसके यहां चाकरी करते हैं। ऐसा सिर्फ इसलिए हो रहा है कि ब्राह्मण समुदाय के लोग अपने लोगों के साथ मुस्तैदी से खड़े नहीं है। कार्यक्रम में ब्राह्मण छात्र सभा के अध्यक्ष सर्वेश दीक्षित, पूर्व बसपा विधायक राम शिरोमणि शुक्ला जैसे कई वरिष्ठ और प्रबुद्धजन लोग मौजूद थे।