संतोषसिंह नेगी/चमोली / जिला अस्पताल गोपश्वर में सघन डायरिया नियत्रंण पखवाड़ा कार्यक्रम का क्षेत्रीय विधायक महेन्द्र प्रसाद भट्ट ने दीप प्रज्जवलित कर शुभांरभ किया। इस अवसर उन्होंने बच्चों को ओआरएस के पैकेट भी वितरित किए। जिले में 22 जुलाई से 02 अगस्त तक सघन डायरिया पखवाडा मनाया जाएगा। जिसके तहत शून्य से 5 वर्ष तक के सभी बच्चों को आशाओं के माध्यम से घर-घर जाकर ओआरएस के पैकेट वितरित किए जाएंगे तथा बच्चों में दस्त की शिकायत पाए जाने पर जिंक की गोली भी दी जाएगी।क्षेत्रीय विधायक ने लोगों को डायरिया के प्रति सजग रहने व अपने आसपास के परिवेश में स्वच्छता बनाए रखने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि कोई भी बच्चा बीमार न हो इसके लिए आशा कार्यकत्री को अपने क्षेत्र में घर-घर जाकर लोगों को जागरूक करने की आवश्यकता है। कहा दूरस्थ क्षेत्र में स्वास्थ्य सुविधाओं पहुंचाने में आशा एक अहम कडी है। उन्होंने सभी आशाओं को डायरिया नियत्रंण पखवाडे पर सभी बच्चों को ओआरएस पैकेट वितरित करने की बात कही, ताकि कोई भी बच्चा इस बीमारी से ग्रसित न हो। इस दौरान क्षेत्रीय विधायक ने जिला अस्पताल में विधायक निधि से एम्बुलेंस की व्यवस्था करने का भरोसा भी दिलाया। साथ ही जिला अस्पताल में रिक्त चल रहे चाइल्ड स्पेलिस्ट, गाइनेकोलाॅजिस्ट व अन्य महत्वपूर्ण डाॅक्टरों के पद को भरने के लिए मुख्यमंत्री से बात करने का आश्वासन भी दिया।
इस अवसर पर प्रभारी जिलाधिकारी/मुख्य विकास अधिकारी हंसादत्त पांडे ने ग्रामीण क्षेत्रों में आशाओं के माध्यम से किए जा रहे कार्यो की सराहना करते हुए कहा कि स्वास्थ्य सुविधाओं को घर-घर तक पहुॅचाने में आशाए अहम रोल अदा करती है। उन्होंने आशा कार्यकत्रियों को शून्य से पाॅच वर्ष तक के सभी बच्चों तक ओआरएस के पैकेट वितरित करने तथा दस्त की शिकायत मिलने पर बच्चों को जिंक की गोली उपलब्ध कराने की बात कही। कहा कि जिले में कोई भी बच्चा इससे वंचित न रहे। ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को डायरिया के संबध में जानकारी देते हुए स्वच्छता के प्रति प्रेरित करने को कहा। ताकि कोई भी बच्चा गंम्भीर बीमारियों की चपेट में न आए।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने डा0 अनूप कुमार डिमरी ने डायरिया नियत्रंण पखवाडे के बारे में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि पखवाडे के दौरान आशा कार्यत्रियों के माध्यम से घर-घर जाकर स्वच्छता के प्रति लोगों जागरूक करते हुए ओआरएस एवं जिंक टैबलेट वितरित की जाएगी। उन्होंने डायरिया से बचाव के लिए सभी को शौच के बाद तथा भोजन करने से पहले अपने हाथों को साबुन से धोने, पानी उबालकर पीने व अपने आसपास साफ-सफाई रखने की सलाह भी दी। कहा कि डायरिया कोई छोटी बीमारी नहीं है, ग्रामीण क्षेत्रों में लोग इस बीमारी के प्रति लापरवाही दिखाते हैं, जिसके चलते कई बार डायरिया से ग्रसित होने पर बच्चों की मौत भी हो जाती है। कहा कि ओआरएस के एक पैकेट को एक लीटर पानी में घोल कर बच्चों को अवश्य पिलाए। उन्होंने बच्चों में डायरिया की शिकायत होने पर तत्काल डाक्टर को दिखाने की सलाह भी दी।इस अवसर पर सीएमएस डा0 जीवन सिंह, डा0 हिमांशु मिश्रा, डा0 पवन पाल, डा0 अमित जैन, डीपीएम दीपक खण्डूडी, मीडिया प्रभारी उदय सहित एएनएम, आशा कार्यकत्री एवं स्वास्थ्य विभाग के कार्मिक मौजूद थे।