उत्तर प्रदेश से एक बड़ी ख़बर की जानकारी सूत्रों से प्राप्त हो रही है बताया जा रहा है कि उत्तर प्रदेश के बीजेपी अध्यक्ष पद पर स्वतंत्र देव सिंह पटेल काबिज हो सकते हैं। उत्तर प्रदेश में नए बीजेपी अध्यक्ष बनने की चर्चा जोरों पर है। बताया जा रहा है कि महेन्द्र नाथ पांडे जो वर्तमान में यूपी बीजेपी अध्यक्ष हैं को सिक्किम का राज्यपाल भी बनाया जा सकता है।
सूत्रों की मानें तो महेन्द्रनाथ पांडे की कार्यशैली पर भाजपा आलाकमान खुश नही है बीजेपी के इस वयोवृद्ध नेता को किसी और पद के साथ सक्रिय राजनीति से अलग किया जा सकता है। सूत्रों का कहना है कि महेन्द्रनाथ पांडे से कार्यकर्ता भी खुश नही हैं उनका ज्यादातर वक्त पूजापाठ में ही खर्च होता है लगातार 4-4 घंटे भगवान की सेवा में व्यस्त महेन्द्रनाथ पांडे को कार्यकर्ताओं की सेवा का वक्त ही नही मिलता।
ऐसे में भाजपा आलाकमान ने यूपी अध्यक्ष पद पर तेज तर्रार और वर्तमान में परिवहन मंत्री स्वतंत्र देव सिंह पटेल को बिठाया जा सकता है। स्वतंत्र देव सिंह ओबीसी कैटिगरी के नेता हैं ऐसे में भाजपा के जातिगत वोटर समीकरण में ये ज्यादा फिट भी बैठते हैं।
ये तो सब को मालूम है कि यूपी सरकार में योगी के मुख्यमंत्री बनने के बाद सरकार अगडे़ और पिछडे़ की ख़ेमों में बँट चुकी है । केशव प्रसाद मौर्य और योगी की खटपट तो जगजाहिर है। दबी जुबान से पिछडे खेमें के लोग भाजपा के आलाकमान पर आरोप लगाते हैं कि पिछडों के नाम पर वोट माँगकर बीजेपी ने सभी मुख्यमंत्रालय और महत्वपूर्ण पद अगडी जाति के नेताओं को दे दिया।
मुख्यमंत्री के अलावा बीजेपी अध्यक्ष भी सवर्ण जाति से आते हैं ऐसे में स्वतंत्र देव सिंह पटेल का नाम से बीजेपी 2019 के चुनावों को देखते हुए इस समीकरण के गुणा भाग को दुरुस्त करेगी।
कौन हैं स्वतंत्र देव सिंह पटेल
उत्तर प्रदेश में बंपर जीत के बाद बिना चुनाव लडे़ भाजपा के कुछ नेता मंत्री बनाए गए जिनमें से स्वतंत्र देव सिंह एक हैं वर्तमान में परिवहन मंत्रालय की जिम्मेदारी इन्ही के कंधों पर है।
सन् 1988-89 ई0 में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ए.बी.वी.पी.) में संगठन मन्त्री के रूप में राजनीतिक जीवन की शुरुआत करने वाले पटेल को अपनी कड़ी मेहनत एवं संघर्षशील स्वभाव के कारण संगठन में लोकप्रियता हासिल हुई। सन् 1991 में वे भाजपा कानपुर के युवा शाखा के युवा मोर्चा के प्रभारी बने। 1994 में भारतीय जनता पार्टी के बुन्देलखण्ड के युवा मोर्चा शाखा के प्रभारी के रूप में कार्य किया। जल्द ही इन्हें पार्टी ने सन् 1996 ई0 में युवा मोर्चा का महामन्त्री नियुक्त किया। पुनः सन् 1998 ई0 में भाजपा युवा मोर्चा का महामन्त्री बनाया गया। 2001 में भाजपा के युवा मोर्चा के प्रेसीडेण्ट भी बने। इसके बाद 2004 में विधान परिषद के सदस्य चुने गये तथा इसी वर्ष भारतीय जनता पार्टी उ0प्र0 के प्रदेश महामन्त्री भी बनाये गये। इसके बाद भारतीय जनता पार्टी के उत्तर प्रदेश इकाई के अन्तर्गत वर्ष 2004 से वर्ष 2014 ई0 तक दो बार महामन्त्री एवं 2010 में उपाध्यक्ष और फिर 2012 से अब तक महामन्त्री बनाये गए।