सुधांशु पुरी/ अभिषेक श्रीवास्तव
सीतापुर। केंद्रों प्रदेश की सरकार भले ही गरीब मरीजों के स्वास्थ्य सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए तमाम योजनाओं को लागू कर दें और दिशा निर्देश अधिकारियों को देती रहें लेकिन सीतापुर में उन आदेशों का फर्क अधिकारियों कर्मचारियों को नहीं पड़ता।
मामला महिला अस्पताल सीतापुर का है ।जहां सुबह 10 बजे तक अल्ट्रासाउंड केंद्र नहीं खुलता हैं और मरीज घंटों डॉक्टरों का इंतजार करते रहते हैं। आपको बता दें कि सीतापुर महिला अस्पताल में जब आज सुबह पड़ताल की गई तो अल्ट्रासाउंड केंद्र में ताला लटका हुआ था और मरीज घंटों से अल्ट्रासाउंड केंद्र के बाहर बैठकर इंतजार कर रहे थे कि कब डॉक्टर आएंगे, कब उनका अल्ट्रासाउंड होगा लेकिन घंटों बाद भी अल्ट्रासाउंड केंद्र नहीं खुला ।
ऐसा नहीं है कि यह हालत केवल आज की है रोजाना ही महिला अस्पताल सीतापुर में मरीजों को घंटों डाक्टरों कर्मचारियों का इंतजार करना पड़ता है । वहीं सूत्रों की मानें तो महिला अस्पताल सीतापुर में तैनात डॉक्टरों की सांठगांठ बाहर के अल्ट्रासाउंड केंद्रों से है जो मरीजों को जानबूझकर बाहर भेजकर अल्ट्रासाउंड करवा रहे हैं जिसकी कभी भी महिला अस्पताल के बाहर खुले अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर जांच की जा सकती है कि वहां जो मरीज आ रहे हैं वह महिला अस्पताल से पर्चे ले कर ही आ रहे हैं ।
वही जब आज सुबह 10:00 बजे महिला अस्पताल के अल्ट्रासाउंड केंद्र की पड़ताल की गई तो सुबह 10 बजे तक अल्ट्रासाउंड केंद्र नहीं खुला था इससे साफ पता चलता है कि मरीजों को दी जाने वाली स्वास्थ्य सुविधाएं सीतापुर में कागजों पर चल रही हैं जबकि हकीकत कुछ और ही है